बच्चा जब छः सालका हो जाता है तो उसे स्कूलमे पहली क्लासमें एडमिशन मिल जाता है। देशमें जीएसटी (GST – Goods and Service Tax) लागू हुए (1, जुलाई – 2023 को) छः साल पूरे हो गये है। रुकावटे, चैइनपुलिंग चलनेवाली जीएसटीकी गाड़ी अब अपनी पटरी पर ठीक ढंग से चलने लगी है। बिना टिकटवाले और चैइनपुलिंग करने वाले यात्रा में रुकावटे डाल रहे है लेकिन इसे ठीक करने की दिशा में सरकार सभी कोशिषे कर रही है।
देशकी अर्थव्यवस्थाको मजबूत करने, घरेलू चीजोंकी किंमते कम करने तथा वन नेशन-वेन टेक्स की दिशामें आगे बढ़ने के हेतु सरकारने जीएसटी प्रणाली 1, जुलाई, 2017 को दाखिल की। यह व्यवस्था सुचारु रुप से चलाने के लिए 33 सदस्यों वाली जीएसटी काउन्सिल की रचना सप्टेंबर – 2016 में की गई, जिसकी 49 बैठके हो चुकी है और 50वीं बैठक इसी महीने में होने जा रही है। काउन्सिल में केन्द्र सरकार के दो, राज्य सरकार के 28 और केन्द्र शासित प्रदेशो के 3 सदस्य होते है।
शुरूआती कुछ अड़चने और असमंजसता के बाद धीरे धीरे नियमोंमें बदलाव और सुधार होते गये, इसलिए व्यापार-उद्योग संगठनो और टेक्स कन्सल्टो के साथ विचार-विमर्श भी किये गये। इन संगठनों की अभी भी कुछ मांगे और सुझाव काउन्सिल में विचाराधीन है। जीएसटी टेक्स के चार स्लैब (5%, 12%, 18% और 28%) की बजाय तीन स्लेब रखने को सुझाव के साथ कुछ चीजों पर टेक्स कम करने का सुज़ाव भी है।
सरकार और जीएसटी काउन्सिल के लिए बड़ी समस्या टेक्स की चोरी और फर्जी रजिस्ट्रेशन नंबर का है। पिछले छः सालोमें 3 लाख करोड़ से अधिक रुपये की जीएसटी चोरी पकड़ी जा चुकी है, वास्तवमे यह चोरी इससे कई गुना ज्यादा है, जीसे रोकने के प्रयास सरकार कर रही है। कई अड़चनों के बावजूद भी जीएसटी कलेक्शन प्रति वर्ष बठता गया है, यह हमारी अर्थव्यवस्था के लिए अच्छे संकेत है।
2017-18 में जीएसटी कलेक्शन 7.2 लाख करोड़, 2019-20 में 12.2 लाख करोड़, 2020-21 में 11.4 लाख करोड़, 2021-22 में 14.8 लाख करोड़ और 2022-23 में करीब 18 लाख करोड़ रुपये का जीएसटी कलेक्शन रहा। 2023 की बात करे तो जनवरी-2023 में 1.57 लाख करोड़ फरवरी में 1.49 लाख करोड़ मार्च में 1.50 लाख करोड़, एप्रिल में 1.87 लाख करोड़ (सबसे अधिक), मई महीने में 1.57 लाख करोड़ तथा जून-23 में 1.61 लाख करोड़ रूपये का जीएसटी कलेक्शन रहा । सबसे ज्यादा जीएसटी कलेक्शन देने वाले दश राज्यों में, क्रमानुसार महाराष्ट्र, कर्णाटक, गुजरात,तमिलनाडु, यु.पी., हरियाणा, प.बंगाल, दिल्ही, तेलंगाना और ओरिस्सा का नाम आता है। पिछले 18 महीनों में जीएसटी के मासिक कलेक्शन में निरंतर वृद्धि हुई है यह हमारी सुधरती अर्थव्यवस्था के मजबूत संकेत दे रहे है।
विजय केलकर समिति की सलाह-सुज़ाव के बाद लागू की गई जीएसटी व्यवस्था को सभी व्यापार-उद्योग से जूड़े देशवासी को अपना योगदान प्रमाणिकता से देना जरुरी है।